ना आने का फक्र, ना जाने का गम!
दुनिया एक सराय
जिसको आना हो आये
जिसको जाना हो जाये!
ना बदली है, ना बदलेगी
तासीर इसकी,
बदल लो कितनी भी चाहें
तस्वीर इसकी
दुनिया एक सराय
जिसको आना हो आये
जिसको जाना हो जाये!
Wednesday, January 6, 2010
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